dokdo

दोक्दो के बारे में हमारा मौलिक दृष्टिकोण

Dokdo, Beautiful Island of Korea

सरकार का बयान

home > दोक्दो के ऊपर कोरिया की स्थति > सरकार का बयान


print facebook twitter Pin it Post to Tumblr

विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता और जनसंपर्क उपमंत्री विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता का बयान : “दोक्दो के ऊपर जापान का उकसाव और उतेजना तथा जापनी शाही सेना के लिए बनाये गए वैश्यावृति के दासता के शिकार पीडिता के उतरदायित्व का बहाना एक हीं उदगम स्थल साझा करते है l

"दोक्दो ऐतिहासिक, भौगोलिक और अंतर्राष्ट्रीय कानून के अंतर्गत कोरिया का अभिन्न अंग है।"

 
1. आज से सिर्फ दो दिन पहले जापान के केन्द्रीय सचिव ने कहा था कि जापान की सरकार जापानी शाही सेना के लिए बनाए गए वैश्यावृति के दासता के शिकार पीड़िता के दस्तावेज की जांच करने पर विचार कर रही है l लेकिन आज फिर जापानी पर्फेक्चर ने उस दोक्दो के ऊपर अपनी छुद्र मांग को रखने के लिए एक समारोह का आयोजन किया जो कोरिया भूभाग का एक अभिन्न अंग है और जापान की सरकार उस समारोह में ठीक पिछले साल की तरह अपने उच्य स्टार के अधिकारियों को समारोह में भेजकर दोक्दो के ऊपर अपनी मांग को रखने में ब्यस्त है l
 
2. १९०५ में जब साम्राज्यवादी जापान ने कोरियाई प्रायद्वीप के ऊपर अपना आक्रमण शुरू किया दोक्दो यह कहते हुए गलत तरीके से मिला लिया कि यह मानव रहित प्रदेश था l अब जापान सरकार आत्मविरोधी दावा कर रही है कि दोक्दो हमेशा से जापान का अनुवान्सिक क्षेत्र रहा है l सरकार यहाँ अब उस तथ्य को भी नकारने की कोशिश कर रहा है कि उसने कोरिया के नवयुवतियों को बलपूर्वक एक घृणित कार्य में धकेलने और उसे “मिलिट्री कम्फर्ट” जैसा नाम देने का अमानवीय काम किया और उन नवयुवतियों  अनगिनत दर्द और दुःख दिया l
 
3. इतहास से साबित करता है कि जापन खुद अपने बहुत से ऐतिहासिक दस्तावेजों जिसमे उसने स्वीकार किया की दोक्दो जापान के भूभाग का अंग नहीं है l यहाँ तक कि १८७७ के दाजोकान आदेश में भी नहीं है l सेक्सुअल शिकार के मुद्दे पर जापान के मुख्या संसदीय सचिव कोनो ने स्वीकार किया किया कि सेक्स दासता के शिकार लोगों को प्रेरित किया गया , उनके इच्छा के विरुद्ध उन्हें वेश्यावृति में भेजा गया और बलपूर्वक नियंत्रित किया गयाl संयुक्तराष्ट्र के रिपोर्टर कुमारस्वामी द्वारा १९९६ में लिखित रिपोर्ट एवं १९९८ में मैक्दौगल्ल द्वारा लिखित रिपोर्ट से यह निष्कर्ष निकलता है किजापानी साम्राज्यवादी आर्मी ने पीड़ितों को हिंसक तरीके से और  बलपूर्वक उठाकर तथा धोकेबाजी से वेश्यावृति में आने के लिए मजबूर किया l २००७ में “कम्फर्ट लड़की(comfort women)” मुद्दें पर अमेरिकी हाउस ऑफ़ रिप्रेजेन्टेटिव के द्वारा संकल्प पारित किये जाने के बाद अमेरिकी संसद ने २०१४ के समेकित विनियोग अधिनियम  में राज्य सचिव से आग्रह किया कि वो जापान सरकार को “कम्फर्ट लड़की” के मुद्दे को उठाने के लिए प्रेरित करे l
 
4. जापान की सरकार अंतर्राष्ट्रीय समुदाय द्वारा किये जा रहे इस तरह की तीखी आलोचना पर अपना ध्यान नहीं दे रहा है और इतिहास के सच को नकार रहा है l उसका यह कृत्या जापान सरकार की मनसा को साफ करता है किकोरिया प्रायद्वीप में अपने साम्राज्य काल में अपने आक्रमण के इतिहास को नकारते हुए एक ऐतिहासिक अराजकता का रास्ता अपनाना चाहता है और इतहास को पुनः लिखना चाहता है l इसके अलावा तथा कथित  अति सक्रिय योगदान के नाम पर जापान द्वारा अपने आर्मी उत्थान से सम्बंधित कई कदम उठा गए हैं l जैसे पुरे संसार में मुख्य मीडिया आउटलेट, यूरोप एवं उतर पूर्व  एशिया के साथ-साथ अमेरिका  जापान के कलेक्टिव अम्नेसिया , विध्वंसक ऐतिहासिक एवं राष्ट्रीय लहर के ऊपर गहरी चिंता दिखाई है l जापान सरकार को अंतर्राष्ट्रीय समुदाय के आवाज़ को अवश्य सुनना चाहिए l
 
5. यदि जापान के नेतागण इतिहास को तोड़ते मरोड़ते और नकारते रहे और बार बार बहना बनाते रहे तो कोरिया गणराज्य की सरकार जापानके इस तरह के ऐतिहासिक ...कदम को अंतर्राष्ट्रीय समुदाय और जापान के विवेकी लोगों के साथ मिलकर अंतर्राष्ट्रीय समुदाय को बताने का प्रयास जारी रखेगा l कोरिया गणराज्य की सरकार सच्चे रूप से आशा करती है कि जापान अपने साम्राज्यवादी अतीत के कुकृत्यों को सिद्ध करने और गौरवान्वित करने के भ्रम को तुरंत तोड़ेगा और अपने आने वाले पीढ़ी के लगों को सही इतिहास  के ज्ञान से सुसज्जित नागरिक बन ने में मदद करेगा एवं अंतर्राष्ट्रीय समुदाय के एक उतरदायी सदस्य के रूप में कार्य करेगा l

सूचि